माया सभ्यता मानव इतिहास के सबसे बड़े रहस्यों में से एक है. जहां आज मैक्सिको है, वहां सदियों पहले यह एक बेहद समृद्ध सभ्यता थी लेकिन ऐसा क्या हुआ कि अचानक यह गायब हो गई!
वन में शहर
माया सभ्यता के लोगों ने जंगलों के भीतर अद्भुत शहर बनाए थे. ये शहर इतने बड़े थे कि इनमें एक लाख लोग रह सकते थे. लेकिन नौवीं सदी में अचानक ये शहर खाली हो गए है. क्यों, कुछ पता नहीं.
हैरतअंगेज निर्माण
16वीं सदी में जब बाकी दुनिया को इन शहरों का पता चला तो सब हैरान रह गए. विशेषज्ञों को यकीन ही नहीं हुआ कि माया सभ्यता के लोगों ने ये शहर कैसे बनाए होंगे.
माया कैलेंडर
माला कैलेंडर 2012 तक ही था. इससे बहुत से लोगों ने अनुमान लगाया कि 2012 के बाद दुनिया खत्म हो जाएगी. ऐसा कुछ नहीं हुआ.
कैसा था समाज
माया सभ्यता का समाज एक वर्गीकृत समाज था. लोग राजा को ईश्वर की आवाज मानते थे और उसके मंदिर बनाते थे. राजा की संतान को ही राज मिलता था.
दास नहीं थे
माया सभ्यता में दास प्रथा नहीं थी लेकिन युद्धबंदियों से खूब मजदूरी कराई जाती थी. कई बार उनकी बलि भी दे दी जाती थी.
मृत्यु के देवता
माया सभ्यता के हर तरह की मृत्यु के लिए अलग देवता था. हालांकि ज्यादातर देवता तो चित्रों में नाचते ही दिखते हैं. आज भी मेक्सिको में कंकालों के इर्द गिर्द नाचने का उत्सव होता है.
8000 देवता
माया सभ्यता के आठ हजार देवता थे. सबसे बड़ा देवता मक्के का था. उसके चित्र हर जगह थे.
कोकोआ
यहां कोकोआ की बड़ी कीमत थी. अमीर लोग कोकोआ को तोहफे में लेते देते थे. उत्सवों में इसका इस्तेमाल होता था.
गधे नहीं थे क्या?
दूसरी से नौवीं सदी के बीच माया सभ्यता में गधे, घोड़े और खच्चरों की जानकारी नहीं मिलती. लेकिन यह पेंटिंग एक भालू की है जो सामान उठा रहा है. क्या वे भालू पालते थे?
धातु तो थी
माया सभ्यता में धातु का इस्तेमाल होता था. लेकिन कलाकार मुखौटे बनाने के लिए पत्थरों का इस्तेमाल करते थे.
कहां गई सभ्यता
इस बारे में बहुत से सिद्धांत दिए गए हैं. लेकिन कोई सिद्धांतकार कुछ पुख्ता नहीं बता पाया है कि माया सभ्यता अचानक लापता कैसे हो गई.
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