हमारी पृथ्वी पर कई ऐसी जगह है जहाँ इंसानों के जिन्दा रहने के लिए बहुत ही कठिन हालात है। अब तक हम आपको दो ऐसी जगह ब्राजील के स्नेक आइलैंड और जापान के मियाकेज़िमा इजू आइलैंड के बारे बता चुके है। आज हम आपको बताएँगे म्यामार के तट पर स्तिथ रामरी आइलैंड (Ramree Island ) के बारे में।
रामरी आइलैंड का नाम गिनीज़ बुक ऑफ़ वर्ल्ड रिकॉर्ड में एक ऐसी जगह के रूप में दर्ज़ है जहाँ के जानवरों ने इंसानो को सबसे ज्यादा नुकसान पहुचाया है, और इसे यह दर्ज़ा 1945 में घटी एक घटना के कारण मिला है जिसमे लगभग 1000 जापानी सैनिक यहाँ के विशाल खारे पानी के मगरमच्छों का शिकार बन गए थे। वेसे तो इस आइलैंड पर खारे पानी के मगरमच्छों, मलेरिया फैलाने वाले मच्छरों और विषैले बिच्छूयो का राजा चलता है पर इनमे से सबसे खतरनाक खारे पानी के मगरमच्छ है। यह मगरमच्छ 20 फीट तक लम्बे व 2000 पौंड तक वजनी हो सकते है। इनकी पकड़ में आने के बाद किसी भी इंसान का जिन्दा बचना नामुमकिन है।
मगरमच्छों के द्वारा जापानी सैनिको का शिकार :
दूसरे विशव युद्ध कि समाप्ति के बाद जापानी सैनिकों ने रामरी आइलैंड पर कब्ज़ा करके अपना केम्प बना रखा था। 26 जनवरी 1945 को ब्रिटिश सैनिको ने रामरी आइलैंड पर कब्ज़ा करने के लिए जापानी सैनिको पर जोरदार हमला किया। जापानी सैनिक ज्यादा देर तक उनका मुकाबला नहीं कर पाए। इस लड़ाई में सैकड़ो जापनी सैनिक मारे गए और बचे हुए लगभग 1000 सैनिक, अपनी जान बचाने के लिए रामरी आइलैंड के अंदर वाले हिस्सो में चले गए। यह एक दलदली इलाका था जहा कि खारे पानी के मगरमच्छों का राज था।
दलदल के अंदर घुसे सैनिको में से मात्र 20 सैनिक ही बच कर बाहर आ पाये और बाकि सब मगरमच्छों का भोजन बन गए, जबकि सैनिक बंदूको से लेस थे । बचे हुए सैनिको ने, मगरमच्छों के द्वारा उनके साथी सैनिको के शिकार कि जो खौफनाक कहानिया सुनाई, उनको सुनकर सबके रोंगटे खड़े हो गए। स्टेनली राईट ( Stanly Wright), जिन्होंने कि उस युद्ध में हिस्सा लिया था, ने उस घटना के ऊपर एक किताब ” Wildlife Sketches Near And Far” लिखी। इस किताब में उन्होंने उस भयावह घटनाओ का वर्णन किया है कि कैसे मगरमच्छों न सैनिको को अपने बड़े बड़े जबड़ो में पकड़ लिया था और आइलैंड का सारा माहौल सैनिको कि चीखो, गोली चलने कि आवाज़ों और मगरमच्छों कि भयानक आवाज़ो से गूँज उठा था।
अभी भी रामरी आइलैंड पर इन खारे पानी के मगरमच्छों का राज है और ये इतने खतरनाक है कि ये अपने एरिया में आने वाली किसी भी चीज़ को खा जाते है यहाँ तक कि इंसानो को भी। यहाँ पर अभी भी मगरमच्छों के द्वारा इंसानो के शिकार कि खबरे आती रहती है।
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